गुजवि में भर्ती प्रक्रिया में धांधली व छात्रों के उत्पीडऩ के खिलाफ क्रांतिकारी स्टूडेंट ऑग्रेनाइजेशन ने शुरू किया अनिश्चितकालीन धरना
गुजवि कुलपति को सौंपा मांगों संबंधी ज्ञापन
एंटिक ट्रुथ | हिसार
गुरु जंभेश्वर विश्वविद्यालय में हो रही भर्ती प्रक्रिया में धांधली की उच्च स्तरीय जांच और छात्रों के उत्पीडऩ के खिलाफ उचित कार्यवाही को लेकर क्रांतिकारी स्टूडेंट ऑग्रेनाइजेशन द्वारा आज गुजवि में अनिश्चितकालीन धरना शुरू किया गया है। धरने का नेतृत्व कर रहे केएसओ प्रेजिडेंट हरिकेश ढांडा ने कहा कि जब तक हमारी मांगी पूरी नहीं हो जाती हम पीछे नहीं हटेेंगे।
हरिकेश ढांडा ने बताया कि हकृवि कुलपति को एक ज्ञापन सौंपकर उनके समक्ष मांगें रखी गई जिनमें फाइनल ईयर के ओड सेमेस्टर और पिछले सभी सेमेस्टर्स में जिन छात्रों के री-अपीयर आई है उनके एग्जाम्स एक साथ आखिरी सेमेस्टर में हों ताकि छात्रों का एक साल खराब ना हो। ज्ञापन में आरोप लगाया कि विश्वविद्यालय प्रशासन द्वारा की जा रही विभिन्न भर्तियों में बहुत बड़ी भारी धांधली हुई है भर्ती स्कैम की उचित जांच की जाए और पूर्व में हुई सभी भर्तियों को निरस्त किया जाए तथा आगामी भर्तियों पर रोक लगाई जाए। सभी भर्तीयां की गहनता से जांच की जाए। हरिकेश ढांडा ने आरोप लगाया कि कुछ जाति विशेष के लोगों की लिखित परीक्षा में अत्यधिक नंबरों से उत्तीर्ण करवा कर भर्ती प्रक्रिया में मेरिट में लाया गया है जिसकी उचित जांच की जाए।
हरिकेश ढांडा ने गुजवि प्रशासन पर गंभीर आरोप लगाते हुए कहा कि एक जाति विशेष के लोगों को चिन्हित कर उनका आर्थिक सामाजिक और मानसिक प्रताडऩा और शोषण किया जा रहा है क्योंकि पिछले काफी समय से एक जाति विशेष से संबंधित अध्यापकों कर्मचारियों और छात्रों को प्रताडि़त किया जा रहा है। विश्वविद्यालय महाविद्यालय और तमाम शिक्षण संस्थानों में पढऩे वाले ओबीसी/ईडब्ल्यूएस और छात्राओं को अनुसूचित जाति को मिलने वाली पोस्ट मैट्रिक छात्रवृत्ति योजना में शामिल करते हुए पूरी फीस माफ की जाए। पी.एच.डी. स्नातक और स्रातकोत्तर की भारी भरकम फीस को कम किया जाए। क्योंकि जीजेयू एस एंड टी द्वारा वसूली जाने वाली फीस अन्य विश्वविद्यालयों महाविद्यालयों और अन्य शिक्षण संस्थानों से बहुत ज्यादा है। जो कोर्स सरकारी कॉलेज और निजी कॉलेज पांच से सात हजार सालाना में करवाता है वही कोर्स विश्वविद्यालय 40/50 हजार में करवाता है। पी.एच.डी की दाखिला और सेमेस्टर फीस कम की जाए। इसके अतिरिक्त प्रतिवर्ष पीएचडी की फीस हर वर्ष अनियमित रूप से बहुत ज्यादा बढ़ाई गई है। विश्वविद्यालय विभिन्न कार्यों के लिए टेंडर प्रक्रिया में भारी धांधली हुई है। पिछले सेमेस्टर का रिजल्ट अभी तक नहीं आया है उसको जल्दी डिक्लेयर किया जाए। विश्वविद्यालय में जिन सुरक्षाकर्मियों ने छात्र छात्राओं से दुव्र्यवहार करके जिस छात्र की गाडिय़ों की एंट्री ना करने का नोटिस भेजा है उस नोटिस वापस लिया जाये और सुरक्षाकर्मियों पर उचित कार्रवाई की जाए आदि मांगें शामिल हैं। हरिकेश ढांडा ने कहा कि जब तक हमारी मांगों को पूरा नहीं किया जाता हमारी धरना जारी रहेगा।
इसके साथ ही ज्ञापन की एक-एक प्रति शिक्षा मंत्रालय भारत सरकार, चेयरमैन विश्वविद्यालय अनुदान आयोग, चेयरमैन मानवाधिकार आयोग, मुख्यमंत्री हरियाणा सरकार, शिक्षा मंत्री हरियाणा सरकार को भेजकर भी इस संबंध में कार्यवाही की मांग की गई है।